Luke 18:11
फरीसी खड़ा होकर अपने मन में यों प्रार्थना करने लगा, कि हे परमेश्वर, मैं तेरा धन्यवाद करता हूं, कि मैं और मनुष्यों की नाईं अन्धेर करने वाला, अन्यायी और व्यभिचारी नहीं, और न इस चुंगी लेने वाले के समान हूं।
Luke 18:11 in Other Translations
King James Version (KJV)
The Pharisee stood and prayed thus with himself, God, I thank thee, that I am not as other men are, extortioners, unjust, adulterers, or even as this publican.
American Standard Version (ASV)
The Pharisee stood and prayed thus with himself, God, I thank thee, that I am not as the rest of men, extortioners, unjust, adulterers, or even as this publican.
Bible in Basic English (BBE)
The Pharisee, taking up his position, said to himself these words: God, I give you praise because I am not like other men, who take more than their right, who are evil-doers, who are untrue to their wives, or even like this tax-farmer.
Darby English Bible (DBY)
The Pharisee, standing, prayed thus to himself: God, I thank thee that I am not as the rest of men, rapacious, unjust, adulterers, or even as this tax-gatherer.
World English Bible (WEB)
The Pharisee stood and prayed to himself like this: 'God, I thank you, that I am not like the rest of men, extortioners, unrighteous, adulterers, or even like this tax collector.
Young's Literal Translation (YLT)
the Pharisee having stood by himself, thus prayed: God, I thank Thee that I am not as the rest of men, rapacious, unrighteous, adulterers, or even as this tax-gatherer;
| The | ὁ | ho | oh |
| Pharisee | Φαρισαῖος | pharisaios | fa-ree-SAY-ose |
| stood | σταθεὶς | statheis | sta-THEES |
| and prayed | πρὸς | pros | prose |
| thus | ἑαυτὸν | heauton | ay-af-TONE |
| with | ταῦτα | tauta | TAF-ta |
| himself, | προσηύχετο | prosēucheto | prose-EEF-hay-toh |
| Ὁ | ho | oh | |
| God, | θεός | theos | thay-OSE |
| I thank | εὐχαριστῶ | eucharistō | afe-ha-ree-STOH |
| thee, | σοι | soi | soo |
| that | ὅτι | hoti | OH-tee |
| I am | οὐκ | ouk | ook |
| not | εἰμὶ | eimi | ee-MEE |
| as | ὥσπερ | hōsper | OH-spare |
| οἱ | hoi | oo | |
| other | λοιποὶ | loipoi | loo-POO |
| τῶν | tōn | tone | |
| men | ἀνθρώπων | anthrōpōn | an-THROH-pone |
| are, extortioners, | ἅρπαγες | harpages | AHR-pa-gase |
| unjust, | ἄδικοι | adikoi | AH-thee-koo |
| adulterers, | μοιχοί | moichoi | moo-HOO |
| or | ἢ | ē | ay |
| even | καὶ | kai | kay |
| as | ὡς | hōs | ose |
| this | οὗτος | houtos | OO-tose |
| ὁ | ho | oh | |
| publican. | τελώνης· | telōnēs | tay-LOH-nase |
Cross Reference
मत्ती 6:5
और जब तू प्रार्थना करे, तो कपटियों के समान न हो क्योंकि लोगों को दिखाने के लिये सभाओं में और सड़कों के मोड़ों पर खड़े होकर प्रार्थना करना उन को अच्छा लगता है; मैं तुम से सच कहता हूं, कि वे अपना प्रतिफल पा चुके।
मरकुस 11:25
और जब कभी तुम खड़े हुए प्रार्थना करते हो, तो यदि तुम्हारे मन में किसी की ओर से कुछ विरोध, हो तो क्षमा करो: इसलिये कि तुम्हारा स्वर्गीय पिता भी तुम्हारे अपराध क्षमा करे॥
प्रकाशित वाक्य 3:17
तू जो कहता है, कि मैं धनी हूं, और धनवान हो गया हूं, और मुझे किसी वस्तु की घटी नहीं, और यह नहीं जानता, कि तू अभागा और तुच्छ और कंगाल और अन्धा, और नंगा है।
1 कुरिन्थियों 4:7
क्योंकि तुझ में और दूसरे में कौन भेद करता है? और तेरे पास क्या है जो तू ने (दूसरे से) नहीं पाया: और जब कि तु ने (दूसरे से) पाया है, तो ऐसा घमण्ड क्यों करता है, कि मानों नही पाया?
1 कुरिन्थियों 15:9
क्योंकि मैं प्रेरितों में सब से छोटा हूं, वरन प्रेरित कहलाने के योग्य भी नहीं, क्योंकि मैं ने परमेश्वर की कलीसिया को सताया था।
गलातियों 3:10
सो जितने लोग व्यवस्था के कामों पर भरोसा रखते हैं, वे सब श्राप के आधीन हैं, क्योंकि लिखा है, कि जो कोई व्यवस्था की पुस्तक में लिखी हुई सब बातों के करने में स्थिर नहीं रहता, वह श्रापित है।
फिलिप्पियों 3:6
उत्साह के विषय में यदि कहो तो कलीसिया का सताने वाला; और व्यवस्था की धामिर्कता के विषय में यदि कहो तो निर्दोष था।
1 तीमुथियुस 1:12
और मैं, अपने प्रभु मसीह यीशु का, जिस ने मुझे सामर्थ दी है, धन्यवाद करता हूं; कि उस ने मुझे विश्वास योग्य समझकर अपनी सेवा के लिये ठहराया।
याकूब 2:9
पर यदि तुम पक्षपात करते हो, तो पाप करते हो; और व्यवस्था तुम्हें अपराधी ठहराती है।
लूका 20:47
वे विधवाओं के घर खा जाते हैं, और दिखाने के लिये बड़ी देर तक प्रार्थना करते रहते हैं: ये बहुत ही दण्ड पाएंगे॥
मत्ती 19:18
उस ने उस से कहा, कौन सी आज्ञाएं? यीशु ने कहा, यह कि हत्या न करना, व्यभिचार न करना, चोरी न करना, झूठी गवाही न देना।
मत्ती 3:7
जब उस ने बहुतेरे फरीसियों और सदूकियों को बपतिस्मा के लिये अपने पास आते देखा, तो उन से कहा, कि हे सांप के बच्चों तुम्हें किस ने जता दिया, कि आने वाले क्रोध से भागो?
भजन संहिता 135:2
तुम जो यहोवा के भवन में, अर्थात हमारे परमेश्वर के भवन के आंगनों में खड़े रहते हो!
यशायाह 1:15
जब तुम मेरी ओर हाथ फैलाओ, तब मैं तुम से मुंह फेर लूंगा; तुम कितनी ही प्रार्थना क्यों न करो, तौभी मैं तुम्हारी न सुनूंगा; क्योंकि तुम्हारे हाथ खून से भरे हैं।
यशायाह 58:2
वे प्रति दिन मेरे पास आते और मेरी गति बूझने की इच्छा ऐसी रखते हैं मानो वे धर्मी लोगे हैं जिन्होंने अपने परमेश्वर के नियमों को नहीं टाला; वे मुझ से धर्म के नियम पूछते और परमेश्वर के निकट आने से प्रसन्न होते हैं।
यशायाह 65:5
जो कहते हैं, हट जा, मेरे निकट मत आ, क्योंकि मैं तुझ से पवित्र हूं। ये मेरी नाक में धूंएं व उस आग के समान हैं जो दिन भर जलती रहती है।
यिर्मयाह 2:28
परन्तु जो देवता तू ने बना लिए हैं, वे कहां रहे? यदि वे तेरी विपत्ति के समय तुझे बचा सकते हैं तो अभी उठें; क्योंकि हे यहूदा, तेरे नगरों के बराबर तेरे देवता भी बहुत हैं।
यिर्मयाह 2:35
निश्चय उसका क्रोध मुझ पर से हट जाएगा। देख, तू जो कहती है कि मैं ने पाप नहीं किया, इसलिये मैं तेरा न्याय कराऊंगा।
यहेजकेल 33:31
वे प्रजा की नाईं तेरे पास आते और मेरी प्रजा बन कर तेरे साम्हने बैठ कर तेरे वचन सुनते हैं, परन्तु वे उन पर चलते नहीं; मुंह से तो वे बहुत प्रेम दिखाते हैं, परन्तु उनका मन लालच ही में लगा रहता है।
मीका 3:11
उसके प्रधान घूस ले ले कर विचार करते, और याजक दाम ले ले कर व्यवस्था देते हैं, और भविष्यद्वक्ता रूपये के लिये भावी कहते हैं; तौभी वे यह कहकर यहोवा पर भरोसा रखते हैं, यहोवा हमारे बीच में है, इसलिये कोई विपत्ति हम पर न आएगी।
भजन संहिता 134:1
हे यहोवा के सब सेवकों, सुनो, तुम जो रात रात को यहोवा के भवन में खड़े रहते हो, यहोवा को धन्य कहो।