विलापगीत 2:19
रात के हर पहर के आरम्भ में उठ कर चिल्लाया कर! प्रभु के सम्मुख अपने मन की बातों को धारा की नाईं उण्डेल! तेरे बाल-बच्चे जो हर एक सड़क के सिरे पर भूख के कारण मूर्च्छित हो रहे हैं, उनके प्राण के निमित्त अपने हाथ उसकी ओर फैला।
Arise, | ק֣וּמִי׀ | qûmî | KOO-mee |
cry out | רֹ֣נִּי | rōnnî | ROH-nee |
night: the in | בַלַּ֗יְלָ | ballaylā | va-LA-la |
in the beginning | לְרֹאשׁ֙ | lĕrōš | leh-ROHSH |
watches the of | אַשְׁמֻר֔וֹת | ʾašmurôt | ash-moo-ROTE |
pour out | שִׁפְכִ֤י | šipkî | sheef-HEE |
thine heart | כַמַּ֙יִם֙ | kammayim | ha-MA-YEEM |
water like | לִבֵּ֔ךְ | libbēk | lee-BAKE |
before | נֹ֖כַח | nōkaḥ | NOH-hahk |
the face | פְּנֵ֣י | pĕnê | peh-NAY |
Lord: the of | אֲדֹנָ֑י | ʾădōnāy | uh-doh-NAI |
lift up | שְׂאִ֧י | śĕʾî | seh-EE |
thy hands | אֵלָ֣יו | ʾēlāyw | ay-LAV |
toward | כַּפַּ֗יִךְ | kappayik | ka-PA-yeek |
for him | עַל | ʿal | al |
the life | נֶ֙פֶשׁ֙ | nepeš | NEH-FESH |
children, young thy of | עֽוֹלָלַ֔יִךְ | ʿôlālayik | oh-la-LA-yeek |
that faint | הָעֲטוּפִ֥ים | hāʿăṭûpîm | ha-uh-too-FEEM |
for hunger | בְּרָעָ֖ב | bĕrāʿāb | beh-ra-AV |
top the in | בְּרֹ֥אשׁ | bĕrōš | beh-ROHSH |
of every | כָּל | kāl | kahl |
street. | חוּצֽוֹת׃ | ḥûṣôt | hoo-TSOTE |