1 Kings 12:13
तब राजा ने प्रजा से कड़ी बातें कीं,
1 Kings 12:13 in Other Translations
King James Version (KJV)
And the king answered the people roughly, and forsook the old men's counsel that they gave him;
American Standard Version (ASV)
And the king answered the people roughly, and forsook the counsel of the old men which they had given him,
Bible in Basic English (BBE)
And the king gave them a rough answer, giving no attention to the suggestion of the old men;
Darby English Bible (DBY)
And the king answered the people roughly, and forsook the advice of the old men which they had given him;
Webster's Bible (WBT)
And the king answered the people roughly, and forsook the old men's counsel that they gave him;
World English Bible (WEB)
The king answered the people roughly, and forsook the counsel of the old men which they had given him,
Young's Literal Translation (YLT)
And the king answereth the people sharply, and forsaketh the counsel of the elders which they counselled him,
| And the king | וַיַּ֧עַן | wayyaʿan | va-YA-an |
| answered | הַמֶּ֛לֶךְ | hammelek | ha-MEH-lek |
| אֶת | ʾet | et | |
| the people | הָעָ֖ם | hāʿām | ha-AM |
| roughly, | קָשָׁ֑ה | qāšâ | ka-SHA |
| forsook and | וַֽיַּעֲזֹ֛ב | wayyaʿăzōb | va-ya-uh-ZOVE |
| אֶת | ʾet | et | |
| the old men's | עֲצַ֥ת | ʿăṣat | uh-TSAHT |
| counsel | הַזְּקֵנִ֖ים | hazzĕqēnîm | ha-zeh-kay-NEEM |
| that | אֲשֶׁ֥ר | ʾăšer | uh-SHER |
| they gave | יְעָצֻֽהוּ׃ | yĕʿāṣuhû | yeh-ah-tsoo-HOO |
Cross Reference
याकूब 3:17
पर जो ज्ञान ऊपर से आता है वह पहिले तो पवित्र होता है फिर मिलनसार, कोमल और मृदुभाव और दया, और अच्छे फलों से लदा हुआ और पक्षपात और कपट रहित होता है।
सभोपदेशक 10:12
बुद्धिमान के वचनों के कारण अनुग्रह होता है, परन्तु मूर्ख अपने वचनों के द्वारा नाश होते हैं।
नीतिवचन 18:23
निर्धन गिड़गिड़ा कर बोलता है, परन्तु धनी कड़ा उत्तर देता है।
नीतिवचन 15:1
कोमल उत्तर सुनने से जलजलाहट ठण्डी होती है, परन्तु कटुवचन से क्रोध धधक उठता है।
नीतिवचन 13:20
बुद्धिमानों की संगति कर, तब तू भी बुद्धिमान हो जाएगा, परन्तु मूर्खों का साथी नाश हो जाएगा।
नीतिवचन 10:32
धर्मी ग्रहणयोग्य बात समझ कर बोलता है, परन्तु दुष्टों के मुंह से उलट फेर की बातें निकलती हैं॥
नीतिवचन 10:11
धर्मी का मुंह तो जीवन का सोता है, परन्तु उपद्रव दुष्टों का मुंह छा लेता है।
1 राजा 20:6
परन्तु कल इसी समय मैं अपने कर्मचारियों को तेरे पास भेजूंगा और वे तेरे और तेरे कर्मचारियों के घरों में ढूंढ़-ढांढ़ करेंगे, और तेरी जो जो मनभावनी वस्तुएं निकालें उन्हें वे अपने अपने हाथ में ले कर आएंगे।
2 शमूएल 19:43
इस्राएली पुरुषों ने यहूदी पुरुषों को उत्तर दिया, राजा में दस अंश हमारे हैं; और दाऊद में हमारा भाग तुम्हारे भाग से बड़ा है। तो फिर तुम ने हमें क्योंतुच्छ जाना? क्या अपने राजा के लौटा ले आने की चर्चा पहिले हम ही ने न की थी? और यहूदी पुरुषों ने इस्राएली पुरुषों से अधिक कड़ी बातें कहीं।
1 शमूएल 25:10
नाबाल ने दाऊद के जनों को उत्तर देकर उन से कहा, दाऊद कौन है? यिशै का पुत्र कौन है? आज कल बहुत से दास अपने अपने स्वामी के पास से भाग जाते हैं।
1 शमूएल 20:30
तब शाऊल का कोप योनातन पर भड़क उठा, और उसने उस से कहा, हे कुटिला राजद्रोही के पुत्र, क्या मैं नहीं जानता कि तेरा मन तो यिशै के पुत्र पर लगा है? इसी से तेरी आशा का टूटना और तेरी माता का अनादर ही होगा।
1 शमूएल 20:10
दाऊद ने योनातन से कहा, यदि तेरा पिता तुझ को कठोर उत्तर दे, तो कौन मुझे बताएगा?
न्यायियों 12:1
तब एप्रैमी पुरूष इकट्ठे हो कर सापोन को जा कर यिप्तह से कहने लगे, कि जब तू अम्मोनियों से लड़ने को गया तब हमें संग चलने को क्यों नहीं बुलवाया? हम तेरा घर तुझ समेत जला देंगे।
निर्गमन 10:28
तब फिरौन ने उससे कहा, मेरे साम्हने से चला जा; और सचेत रह; मुझे अपना मुख फिर न दिखाना; क्योंकि जिस दिन तू मुझे मुंह दिखलाए उसी दिन तू मारा जाएगा।
निर्गमन 5:2
फिरौन ने कहा, यहोवा कौन है, कि मैं उसका वचन मानकर इस्राएलियों को जाने दूं? मैं यहोवा को नहीं जानता, और मैं इस्राएलियों को नहीं जाने दूंगा।
उत्पत्ति 42:30
कि जो पुरूष उस देश का स्वामी है, उसने हम से कठोरता के साथ बातें कीं, और हम को देश के भेदिए कहा।
उत्पत्ति 42:7
उन को देखकर यूसुफ ने पहिचान तो लिया, परन्तु उनके साम्हने भोला बनके कठोरता के साथ उन से पूछा, तुम कहां से आते हो? उन्होंने कहा, हम तो कनान देश से अन्न मोल लेने के लिये आए हैं।
उत्पत्ति 16:6
अब्राम ने सारै से कहा, देख तेरी लौंडी तेरे वश में है: जैसा तुझे भला लगे वैसा ही उसके साथ कर। सो सारै उसको दु:ख देने लगी और वह उसके साम्हने से भाग गई।