1 Peter 3:8 in Hindi

Hindi Hindi Bible 1 Peter 1 Peter 3 1 Peter 3:8

1 Peter 3:8
निदान, सब के सब एक मन और कृपामय और भाईचारे की प्रीति रखने वाले, और करूणामय, और नम्र बनो।

1 Peter 3:71 Peter 31 Peter 3:9

1 Peter 3:8 in Other Translations

King James Version (KJV)
Finally, be ye all of one mind, having compassion one of another, love as brethren, be pitiful, be courteous:

American Standard Version (ASV)
Finally, `be' ye all likeminded, compassionate, loving as brethren, tenderhearted, humbleminded:

Bible in Basic English (BBE)
Last of all, see that you are all in agreement; feeling for one another, loving one another like brothers, full of pity, without pride:

Darby English Bible (DBY)
Finally, [be] all of one mind, sympathising, full of brotherly love, tender hearted, humble minded;

World English Bible (WEB)
Finally, be all like-minded, compassionate, loving as brothers, tenderhearted, courteous,

Young's Literal Translation (YLT)
And finally, being all of one mind, having fellow-feeling, loving as brethren, compassionate, courteous,


Τὸtotoh
Finally,
δὲdethay
be
ye
all
τέλοςtelosTAY-lose
mind,
one
of
πάντεςpantesPAHN-tase
another,
of
one
compassion
having
ὁμόφρονεςhomophronesoh-MOH-froh-nase
love
as
brethren,
συμπαθεῖςsympatheissyoom-pa-THEES
be
pitiful,
φιλάδελφοιphiladelphoifeel-AH-thale-foo
be
courteous:
εὔσπλαγχνοιeusplanchnoiAFE-splahng-hnoo
φιλόφρονες·philophronesfeel-OH-froh-nase

Cross Reference

Romans 12:10
भाईचारे के प्रेम से एक दूसरे पर दया रखो; परस्पर आदर करने में एक दूसरे से बढ़ चलो।

Ephesians 4:31
सब प्रकार की कड़वाहट और प्रकोप और क्रोध, और कलह, और निन्दा सब बैरभाव समेत तुम से दूर की जाए।

1 Peter 1:22
सो जब कि तुम ने भाईचारे की निष्कपट प्रीति के निमित्त सत्य के मानने से अपने मनों को पवित्र किया है, तो तन मन लगा कर एक दूसरे से अधिक प्रेम रखो।

Colossians 3:12
इसलिये परमेश्वर के चुने हुओं की नाईं जो पवित्र और प्रिय हैं, बड़ी करूणा, और भलाई, और दीनता, और नम्रता, और सहनशीलता धारण करो।

Ephesians 4:2
अर्थात सारी दीनता और नम्रता सहित, और धीरज धरकर प्रेम से एक दूसरे की सह लो।

Zechariah 7:9
खराई से न्याय चुकाना, और एक दूसरे के साथ कृपा और दया से काम करना,

1 Corinthians 12:26
इसलिये यदि एक अंग दु:ख पाता है, तो सब अंग उसके साथ दु:ख पाते हैं; और यदि एक अंग की बड़ाई होती है, तो उसके साथ सब अंग आनन्द मनाते हैं।

Acts 4:32
और विश्वास करने वालों की मण्डली एक चित्त और एक मन के थे यहां तक कि कोई भी अपनी सम्पति अपनी नहीं कहता था, परन्तु सब कुछ साझे का था।

Romans 12:15
आनन्द करने वालों के साथ आनन्द करो; और रोने वालों के साथ रोओ।

James 3:17
पर जो ज्ञान ऊपर से आता है वह पहिले तो पवित्र होता है फिर मिलनसार, कोमल और मृदुभाव और दया, और अच्छे फलों से लदा हुआ और पक्षपात और कपट रहित होता है।

1 John 3:18
हे बालकों, हम वचन और जीभ ही से नहीं, पर काम और सत्य के द्वारा भी प्रेम करें।

Matthew 18:33
सो जैसा मैं ने तुझ पर दया की, वैसे ही क्या तुझे भी अपने संगी दास पर दया करना नहीं चाहिए था?

2 Peter 1:7
और भक्ति पर भाईचारे की प्रीति, और भाईचारे की प्रीति पर प्रेम बढ़ाते जाओ।

1 John 3:14
हम जानते हैं, कि हम मृत्यु से पार होकर जीवन में पहुंचे हैं; क्योंकि हम भाइयों से प्रेम रखते हैं: जो प्रेम नहीं रखता, वह मृत्यु की दशा में रहता है।

James 5:11
देखो, हम धीरज धरने वालों को धन्य कहते हैं: तुम ने अय्यूब के धीरज के विषय में तो सुना ही है, और प्रभु की ओर से जो उसका प्रतिफल हुआ उसे भी जान लिया है, जिस से प्रभु की अत्यन्त करूणा और दया प्रगट होती है।

1 Peter 5:5
हे नवयुवकों, तुम भी प्राचीनों के आधीन रहो, वरन तुम सब के सब एक दूसरे की सेवा के लिये दीनता से कमर बान्धे रहो, क्योंकि परमेश्वर अभिमानियों का साम्हना करता है, परन्तु दीनों पर अनुग्रह करता है।

1 Peter 2:17
सब का आदर करो, भाइयों से प्रेम रखो, परमेश्वर से डरो, राजा का सम्मान करो॥

Luke 10:33
परन्तु एक सामरी यात्री वहां आ निकला, और उसे देखकर तरस खाया।

1 Corinthians 1:10
हे भाइयो, मैं तुम से यीशु मसीह जो हमारा प्रभु है उसके नाम के द्वारा बिनती करता हूं, कि तुम सब एक ही बात कहो; और तुम में फूट न हो, परन्तु एक ही मन और एक ही मत होकर मिले रहो।

Philippians 4:8
निदान, हे भाइयों, जो जो बातें सत्य हैं, और जो जो बातें आदरणीय हैं, और जो जो बातें उचित हैं, और जो जो बातें पवित्र हैं, और जो जो बातें सुहावनी हैं, और जो जो बातें मनभावनी हैं, निदान, जो जो सदगुण और प्रशंसा की बातें हैं, उन्हीं पर ध्यान लगाया करो।

Hebrews 13:1
भाईचारे की प्रीति बनी रहे।

James 2:13
क्योंकि जिस ने दया नहीं की, उसका न्याय बिना दया के होगा: दया न्याय पर जयवन्त होती है॥

Psalm 103:13
जैसे पिता अपने बालकों पर दया करता है, वैसे ही यहोवा अपने डरवैयों पर दया करता है।

Philippians 3:16
सो जहां तक हम पहुंचे हैं, उसी के अनुसार चलें॥

Romans 15:5
और धीरज, और शान्ति का दाता परमेश्वर तुम्हें यह वरदान दे, कि मसीह यीशु के अनुसार आपस में एक मन रहो।

Acts 28:7
उस जगह के आसपास पुबलियुस नाम उस टापू के प्रधान की भूमि थी: उस ने हमें अपने घर ले जाकर तीन दिन मित्र भाव से पहुनाई की।

Acts 27:3
दूसरे दिन हम ने सैदा में लंगर डाला और यूलियुस ने पौलुस पर कृपा करके उसे मित्रों के यहां जाने दिया कि उसका सत्कार किया जाए।

Acts 2:1
जब पिन्तेकुस का दिन आया, तो वे सब एक जगह इकट्ठे थे।

Proverbs 28:8
जो अपना धन ब्याज आदि बढ़ती से बढ़ाता है, वह उसके लिये बटोरता है जो कंगालों पर अनुग्रह करता है।